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देश के 47वें मुख्य न्यायाधीश रूप में जस्टिस बोबडे ली शपथ, राष्ट्रपति ने दिलाई शपथ

जस्टिस शरद अरविंद बोबडे (एस.ए. बोबडे) ने भारत के 47वें मुख्य न्यायाधीश के रूप में शपथ ले ली है. राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने जस्टिस बोबडे को भारत के प्रधान न्यायाधीश के रूप में शपथ दिलवाई. 17 नवंबर को रिटायर हुए पूर्व चीफ जस्टिस रंजन गोगोई ने ही CJI पद के लिए जस्टिस बोबडे के नाम की सिफारिश की थी.
LIVE: Swearing-in-Ceremony of the Chief Justice of India Justice Sharad Arvind Bobde https://t.co/r0ALru3rMh— President of India (@rashtrapatibhvn) November 18, 2019
जस्टिस बोबडे चीफ जस्टिस के रूप में 18 महीने कार्य करेंगे. वह 23 अप्रैल 2021 को रिटायर होंगे. हाल ही में आए अयोध्या के रामजन्मभूमि-बाबरी मस्जिद विवाद फैसले की सुनवाई करने वाली बेंच में जस्टिस बोबडे भी शामिल थे.
Delhi: Justice Sharad Arvind Bobde takes oath as Chief Justice of India. pic.twitter.com/JdacpmNUi4— ANI (@ANI) November 18, 2019
बतौर CJI जस्टिस एस. ए. बोबडे के सामने कई बड़े फैसले होंगे, जिनपर उन्हें फैसला सुनाना होगा. हाल ही में अयोध्या विवाद पर फैसला आया है, लेकिन इसपर पुनर्विचार याचिका दायर होने का भी निर्णय मुस्लिम पक्ष ने लिया है. दूसरी ओर सबरीमाला विवाद को अब बड़ी बेंच को सौंपा गया है, ऐसे में बतौर चीफ जस्टिस वह इस बेंच का हिस्सा होंगे.
कौन हैं जस्टिस बोबडे?
जस्टिस एस ए बोबडे का जन्म महाराष्ट्र के नागपुर में 24 अप्रैल 1956 को हुआ. उन्होंने नागपुर यूनिवर्सिटी से कानून में स्नातक की उपाधि हासिल की. वह 1978 में बार काउंसिल आफ महाराष्ट्र में पंजीकृत हुए और 1998 में वरिष्ठ वकील मनोनीत हुए.
वह 29 मार्च 2000 को बंबई हाईकोर्ट में अतिरिक्त जज नियुक्त हुए. वह 16 अक्टूबर 2012 को मध्य प्रदेश हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश बनाए गए, सुप्रीम कोर्ट में वह 12 अप्रैल 2013 में जज बनाए गए.
जस्टिस एस. ए. बोबड़े 23 अप्रैल, 2021 को रिटायर होंगे. बता दें कि जस्टिस रंजन गोगोई 3 अक्टूबर 2018 को प्रधान न्यायाधीश बनाए गए और रविवार को वह सेवानिवृत्त हुए.